दिलीप बिल्डकॉन कंपनी पर सीबीआई का छापा -
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दिलीप सूर्यवंशी पर पर्दा उठते ही पर्दाफाश होंगे कई आईएएस, आईपीएस और राजनेता -
आखिर क्यों हुई दिलीप बिल्डकॉन पर कार्यवाही?
विजया पाठक, एडिटर, जगत विजन
प्रदेश में दिलीप बिल्डकॉन पर सी.बी.आई. के छापों ने प्रदेश की पूरी राजनीति उबाल पर ला दिया है। शिवराज सरकार में दिलीप सूर्यवंशी का क्या कद है, यह पूरा प्रदेश जानता है। दिलीप सूर्यवंशी की काफी कहानियां पावर गैलरी में घूमती हैं। जैसे आई. ए. एस, आईपीएस, या अन्य मनमाफिक अधिकारियों की पोस्टिंग, सबमें उनकी काफी सुनी जाती है। अभी कुछ दिन पहले ही 20 लाख की रिश्वत को लेकर दिलीप बिल्डकॉन की (गर्दन) उनके कार्यकारी निदेशक देवेंद्र जैन को सी.बी.आई. ने गिरफ्तार किया है। ऐसे में सिर्फ 20 लाख की रिश्वत ट्रैप करके देवेन्द्र जैन और उसके जरिये दिलीप सूर्यवंशी तक पहुंचना एक बड़ा सियासी खेल दिखता है। इन छापों में निश्चित तौर पर केन्द्र की भूमिका दिखती है। क्योंकि इतनी बडी मछली के ऊपर हाथ डालने से पहले राजनीतिक संज्ञान जरुर लिया होगा। क्योंकि सी.बी.आई. का यह प्रकरण आपराधिक श्रेणी में आता है। आयकर विभाग या ईडी आर्थिक अपराध की श्रेणी के प्रकरण संज्ञान लेती है और उनमें आमतौर पर राजनीतिक संज्ञान नहीं लिए जाते हैं। इस मामले में सी.बी.आई. ने देवेन्द्र जैन को पहले से सर्विलेंस में रखा होगा। पूर्ण रूप से आश्वस्त होने के बाद ही जैन को ट्रैप किया होगा। अब केंद्र किसको टारगेट करना चाहती है, यह तो भविष्य में दिखेगा। दिलीप सूर्यवंशी पर अगर कार्यवाही तेज होती है तो निश्चित तौर पर इसकी जद में प्रदेश के बहुत सारे आईएएस, आईपीएस, मंत्री एवं बड़े व्यवसायी आयेंगे।
सब जानते हैं कि प्रदेश में जब-जब शिवराज का शासन रहा तब-तब दिलीप बिल्डकॉन का रूबता बड़ता गया और मध्यप्रदेश में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के साथ-साथ दिलीप सूर्यवंशी भी बढ़ते गए। 2003 तक भोपाल का ठीक-ठाक व्यापारी 2021 के अंत तक देश का बड़ा और प्रदेश का बिजनेस टाईकून बन गया। कौनसा ऐसा व्यापार है जो दिलीप सूर्यवंशी के नहीं है। सड़क-निर्माण, ब्रिज, मेट्रो, कोयला या होटल व्यवसाय सबमें दिलीप बिल्डकॉन की तूती बोलती है। तो आखिर ऐसा क्या हुआ की मामूली 20 लाख की रिश्वत को लेकर दिलीप बिल्डकॉन की (गर्दन) उनके कार्यकारी निदेशक देवेंद्र जैन को सी.बी.आई. ने गिरफ्तार किया। देवेंद्र जैन की ताकत का अंदाजा इसी बात से लगता है कि एक बार एम.पी.आर.डी.सी. के ई.एन.सी. ने करोड़ों रूपये की पेनल्टी दिलीप बिल्डकॉन कंपनी पर लगाई, इस पर बिल्डकॉन के (वर्तमान में गिरफ्तार निदेशक) ने ई.एन.सी. को बड़ी रिश्वत की पेशकश की। जब ई.एन.सी. नहीं माने, तो फिर विभाग के अपर मुख्य सचिव जो कि अल्पसंख्यक समुदाय से आते हैं, उन्होंने उनको पद से हटाने का आदेश जारी कर दिया। बेचारे ईएनसी साहब ने अपनी नौकरी से ही इस्तीफा देने में ही अपनी भलाई समझी। देवेन्द्र जैन के दो आईपीएस भाई हैं, जिसमें मुकेश कुमार जैन आईपीएस (एडीजी) वर्तमान में मध्यप्रदेश के ट्रांसपोर्ट कमिश्नर हैं और उपेंद्र जैन आईपीएस (एडीजी) है। देवेन्द्र जैन की गिरफ्तारी की बाद अगर दिलीप सूर्यवंशी तक जांच की आग पहुंचती है तो इसकी धमक बहुत बड़ी होगी। इसकी आंच में मुख्यमंत्री के खास सिंह जिनकी बहन भाजपा में एक प्रदेश उपाध्यक्ष पद पर हैं और उनके पति दिलीप बिल्डकॉन कम्पनी में कार्यरत हैं। जांच उन तक पहुंचती है तो न जाने कितने बड़े नाम सामने आयेंगे। गौर करने लायक बात यह है कि 2012 में भी सिंह के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति का आयकर विभाग की कार्यवाही हुई थी। वर्तमान में देवेन्द्र जैन सी.बी.आई की हिरासत में है पर उनकी गिरफ्तारी सीबीआई ने अभी तक नहीं दिखलाई है। वहीं इनके आई.पी.एस. भाई अभी सीबीआई की सर्विलेंस में हैं।
निष्पक्ष जांच होने पर निकल सकता हनीट्रेप पार्ट-2
आखिरकार ऐसा क्या हुआ कि सीबीआई ने दिलीप बिल्डकॉन पर कार्यवाही की। इसमें सूत्रों के मुताबिक दिलीप बिल्डकॉन के कर्मचारी नवनीत कुमार शर्मा, जो कि भोपाल के कोलार क्षेत्र का रहने वाला है। वह कम्पनी के विशेष आतिथ्य का काम संभालता था। किसको कहां रूकवाना है, ऐशो-आराम की समस्त सुविधाऐं बाहर से बुलवाकर अधिकारियों/नेताओं का विशेष ख्याल रखने का काम करता था। कम्पनी के काम निकालने के लिये ऐसा विशेष आतिथ्य प्रदेश के बड़े मंत्री-संत्री, आईएएस, आईपीस, अधिकारी गण एवं अन्य को मिलता था। सूत्रों से मिली जानकारी अनुसार नवनीत कुमार शर्मा ने कुछ गोपनीय जानकारी इधर-उधर की थी, जिसका मालूम पड़ते ही कम्पनी ने आनन-फानन में नवनीत पर चूनाभट्टी थाने में केस दर्ज करवाकर उसको बंद करवा दिया। सीबीआई की जब टीम भोपाल में आई तो वह चुपचाप नवनीत कुमार शर्मा के घर भी गई और वहां से कुछ दस्तावेज अपने साथ ले गई। अभी भी नवनीत कुमार शर्मा की धर्मपत्नी से मिलने पर काफी बातें सामने आ सकती हैं। यदि पूरे मामले की निष्पक्ष जांच हो तो यह हनीट्रेप पार्ट-2 भी निकल सकता है। कुछ दिनों पहले आई इंडिया रिच लिस्ट-2021 में दिलीप बिल्डकान के मालिक दिलीप सूर्यवंशी का स्थान देश में 377वां था और उनकी कुल संपत्ति 41 सौ करोड़ बताई गई थी। वहीं 582 नंबर पर उनके पार्टनर देवेन्द्र जैन को 23 सौ करोड़ का मालिक बताया गया है।